विश्व मुक्केबाजी चैंपियनशिप में भारत की स्टार मुक्केबाज जैस्मीन लंबोरिया ने धमाकेदार प्रदर्शन करते हुए क्वार्टर फाइनल में अपनी जगह पक्की कर ली है। 52 किग्रा वर्ग में जैस्मीन ने अपने दमदार पंच और तेज रणनीति से सभी को प्रभावित किया। उनके इस प्रदर्शन ने भारतीय प्रशंसकों में उत्साह की लहर दौड़ा दी है। जैस्मीन ने अपने मुकाबले में शानदार तकनीक और आत्मविश्वास दिखाया, जिसके चलते वह अब मेडल की रेस में मजबूती से बनी हुई हैं।
चानू और साक्षी को मिली निराशा हालांकि, भारत के लिए इस चैंपियनशिप में कुछ निराशा भी हाथ लगी। स्टार मुक्केबाज सविटी चानू और साक्षी चौधरी को अपने-अपने मुकाबलों में हार का सामना करना पड़ा, जिसके चलते उनका सफर प्री-क्वार्टर फाइनल में ही खत्म हो गया। सविटी और साक्षी ने पूरे जोश के साथ रिंग में उतरकर मुकाबला किया, लेकिन इस बार किस्मत ने उनका साथ नहीं दिया। फिर भी, इन दोनों खिलाड़ियों ने अपने प्रदर्शन से भारतीय मुक्केबाजी की ताकत को दुनिया के सामने रखा।
भारतीय टीम की उम्मीदें बरकरार जैस्मीन के क्वार्टर फाइनल में पहुंचने से भारतीय टीम का हौसला अब भी बुलंद है। उनके अलावा अन्य भारतीय मुक्केबाज, जैसे मंजू रानी, भी टूर्नामेंट में शानदार प्रदर्शन कर रही हैं। भारतीय प्रशंसक अब जैस्मीन से मेडल की उम्मीद लगाए बैठे हैं। यह चैंपियनशिप भारत के लिए गर्व का मौका बन सकती है, अगर जैस्मीन अपने इस फॉर्म को बरकरार रखती हैं।
आगे की राह जैस्मीन का अगला मुकाबला और भी चुनौतीपूर्ण होने वाला है, लेकिन उनकी तैयारी और आत्मविश्वास को देखकर लगता है कि वह किसी भी चुनौती को पार करने के लिए तैयार हैं। भारतीय मुक्केबाजी संघ और कोचिंग स्टाफ भी जैस्मीन के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़े हैं। अब सभी की नजरें इस बात पर टिकी हैं कि क्या जैस्मीन भारत के लिए मेडल जीतकर इतिहास रच पाएंगी।
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