नई दिल्ली: अमेरिका में एफ-1 (F-1) वीजा को लेकर एक नई समस्या सामने आ रही है। सोशल मीडिया की जांच के बाद कई छात्रों के वीजा या तो रोके जा रहे हैं, या देर से मिल रहे हैं, या फिर चुपचाप रद्द कर दिए जा रहे हैं। छात्रों को इसका कारण भी नहीं बताया जा रहा है। इससे छात्रों में काफी निराशा है। एक छात्र को 221(g) फॉर्म दिया गया, जो कि "एडमिनिस्ट्रेटिव प्रोसेसिंग" के लिए होता है। लेकिन कुछ दिनों बाद उसका वीजा बिना कोई कारण बताए रद्द कर दिया गया।
इस छात्र की पत्नी और बच्चे का वीजा पहले ही मंजूर हो चुका था। लेकिन मुख्य आवेदक का वीजा रद्द होने से वे सब परेशान हैं। छात्र का कहना है कि उसका सोशल मीडिया प्रोफाइल "क्लीन" है, यानी उसमें कुछ भी गलत नहीं है। कई अन्य छात्र भी इसी तरह की परेशानी का सामना कर रहे हैं। उन्हें बस इंतजार करने के लिए कहा जा रहा है, लेकिन बाद में उनके वीजा रद्द हो रहे हैं।
वीजा रद्द होने पर अपील का विकल्प नहीं
वीजा रद्द होने पर कोई अपील करने का भी विकल्प नहीं है। छात्रों को फिर से आवेदन करना होगा, फिर से पैसे देने होंगे, और उम्मीद करनी होगी कि अगली बार उनका वीजा मंजूर हो जाएगा। वीजा अधिकारी अब किसी भी ऑनलाइन पोस्ट को देखकर वीजा रद्द कर सकते हैं, अगर उन्हें वह पोस्ट "एंटी अमेरिका" या "अनुचित" लगे। लेकिन "रेड फ्लैग" क्या है, यह कोई नहीं जानता।
यह नया नियम आने से पहले ही स्टूडेंट वीजा रिजेक्ट होने की संख्या बढ़ रही थी। अब सोशल मीडिया प्रोफाइल की जांच शुरू होने से अधिकारियों को वीजा रद्द करने का एक और कारण मिल गया है। लेकिन इस बार यह प्रक्रिया कई दिनों तक खिंच रही है।
सोशल मीडिया पर 'एंटी अमेरिका' पोस्ट किसे मानेंगे?
वीजा अधिकारी अब सोशल मीडिया पर किसी भी पोस्ट को देखकर वीजा रद्द कर सकते हैं, भले ही वह पोस्ट कितनी भी पुरानी या मामूली क्यों न हो। छात्रों को यह भी नहीं पता कि किस तरह की पोस्ट "एंटी अमेरिका" मानी जाएगी। इससे छात्रों में डर का माहौल है। वे सोशल मीडिया पर कुछ भी पोस्ट करने से डर रहे हैं। वीजा अधिकारी किसी भी पोस्ट को "अनुचित" मान सकते हैं, भले ही वह पोस्ट व्यक्तिगत राय हो या सिर्फ एक मजाक।
अमेरिका में स्टूडेंट वीजा रिजेक्ट होने की संख्या पहले से ही बढ़ रही थी। अब सोशल मीडिया की जांच शुरू होने से यह समस्या और भी बढ़ गई है। छात्रों को वीजा पाने के लिए और भी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है।
इस छात्र की पत्नी और बच्चे का वीजा पहले ही मंजूर हो चुका था। लेकिन मुख्य आवेदक का वीजा रद्द होने से वे सब परेशान हैं। छात्र का कहना है कि उसका सोशल मीडिया प्रोफाइल "क्लीन" है, यानी उसमें कुछ भी गलत नहीं है। कई अन्य छात्र भी इसी तरह की परेशानी का सामना कर रहे हैं। उन्हें बस इंतजार करने के लिए कहा जा रहा है, लेकिन बाद में उनके वीजा रद्द हो रहे हैं।
वीजा रद्द होने पर अपील का विकल्प नहीं
वीजा रद्द होने पर कोई अपील करने का भी विकल्प नहीं है। छात्रों को फिर से आवेदन करना होगा, फिर से पैसे देने होंगे, और उम्मीद करनी होगी कि अगली बार उनका वीजा मंजूर हो जाएगा। वीजा अधिकारी अब किसी भी ऑनलाइन पोस्ट को देखकर वीजा रद्द कर सकते हैं, अगर उन्हें वह पोस्ट "एंटी अमेरिका" या "अनुचित" लगे। लेकिन "रेड फ्लैग" क्या है, यह कोई नहीं जानता।
यह नया नियम आने से पहले ही स्टूडेंट वीजा रिजेक्ट होने की संख्या बढ़ रही थी। अब सोशल मीडिया प्रोफाइल की जांच शुरू होने से अधिकारियों को वीजा रद्द करने का एक और कारण मिल गया है। लेकिन इस बार यह प्रक्रिया कई दिनों तक खिंच रही है।
सोशल मीडिया पर 'एंटी अमेरिका' पोस्ट किसे मानेंगे?
वीजा अधिकारी अब सोशल मीडिया पर किसी भी पोस्ट को देखकर वीजा रद्द कर सकते हैं, भले ही वह पोस्ट कितनी भी पुरानी या मामूली क्यों न हो। छात्रों को यह भी नहीं पता कि किस तरह की पोस्ट "एंटी अमेरिका" मानी जाएगी। इससे छात्रों में डर का माहौल है। वे सोशल मीडिया पर कुछ भी पोस्ट करने से डर रहे हैं। वीजा अधिकारी किसी भी पोस्ट को "अनुचित" मान सकते हैं, भले ही वह पोस्ट व्यक्तिगत राय हो या सिर्फ एक मजाक।
अमेरिका में स्टूडेंट वीजा रिजेक्ट होने की संख्या पहले से ही बढ़ रही थी। अब सोशल मीडिया की जांच शुरू होने से यह समस्या और भी बढ़ गई है। छात्रों को वीजा पाने के लिए और भी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है।
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