कांग्रेस सरकार के पिछले छह महीनों में कैबिनेट द्वारा लिए गए फैसलों की समीक्षा की समय सीमा खत्म नहीं हो रही है। कैबिनेट उप-समिति ने विभागों को अपने स्तर पर समीक्षा कर दो महीने के भीतर ब्यौरा भेजने को कहा है। मंत्रियों की उप-समिति ने इसकी समय-सीमा दो महीने और बढ़ाने का फैसला किया है।
गहलोत शासन के पिछले छह महीनों के फैसलों की समीक्षा के लिए मंगलवार को सचिवालय में कैबिनेट उप-समिति की बैठक हुई। उप-समिति ने भूमि आवंटन के लिए पट्टा जमा नहीं कराने वालों से जुड़े मामलों का ब्यौरा तैयार करने को कहा। उप-समिति के अध्यक्ष स्वास्थ्य मंत्री गजेंद्र सिंह खींवसर ने कहा कि हमने विभागों को मामले भेज दिए हैं, जिन पर रिपोर्ट मांगी गई है। रिपोर्ट आने के बाद फैसला लिया जाएगा।
रिपोर्ट आने के बाद सिफारिशें भेजी जाएंगी
कानून मंत्री जोगाराम पटेल ने कहा, हमने भूमि आवंटन से जुड़े कई बड़े मामलों की समीक्षा की है। जिन मामलों में पट्टा जमा करके कब्जा ले लिया गया है, उनके लिए अलग से ब्यौरा तैयार करने को कहा गया है और जहां कब्जा नहीं लिया गया है, उनके लिए अलग से ब्यौरा तैयार करने को कहा गया है। रिपोर्ट आने के बाद समिति अपनी सिफारिशें भेजेगी।
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